कारगिल दिवस पर शहीदों को नमन
वीर जवानों के लहू से रंगी है धरा,
कारगिल के शौर्य से गर्व है हमें प्यारा।
हिमपात से घिरे वीरता की चोटी,
बह रही थी वहां देशभक्ति की धारा।
दुश्मन के सामने बढ़े वीर सिंह,
आँखों में चमक, हौसले का वीर रंग।
धरती थम गई देखकर उनका बलिदान,
पूरे राष्ट्र हुआ प्रेरित-गौरवान्वित-दंग।
शौर्य और साहस का उदाहरण थे वे,
कारगिल में दिखालाया सर्वोच्च बलिदान।
श्रद्धांजलि उन्हें, जिन्होंने अर्पित किया जीवन,
याद रहेंगे वे सदा, नमन करता विहान।
उनके परिवारों को भी विनम्र भावांजलि,
जिनके बलिदान ने नया रचाइतिहास ।
कारगिल के शहीदों को करें नमन हम,
बलिदान ही था उनका हास-विलास।
वीरता के जज़्बे से सजी है यह धरा,
कारगिल के शौर्य पर गर्व, करते अभिनंदन।
धरती मां की धूल सजा भाल पर,
शहीदों को करें नमन, बार-बार वंदन।
उनका सम्मान करें, सत्कार करें हम,
फैलाएं-सुनाएं शहीदों की अमर गाथा।
पृथ्वी ने लालायित-आह्लादित होकर,
चूम लिया जिनका उज्ज्वल माथा।
वीर जवानों के लहू से रंगी है यह धरा,
कारगिल के शौर्य से पगी है यह धरा।
नभ पर फहरती है उनकी आन-बान-शान,
केसरिया रंग से सजी-संवरी यह धरा।
आइए, श्रद्धा से याद करें उन्हें हम,
कारगिल के शौर्य को जिएं हम।
मातृभूमि का कर्ज़ चुकाया जिन्होंने,
शाश्वत रखें तिरंगे की शान हम॥
डॉ. मीता गुप्ता
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